प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का सन्देश, संदेश का अर्थ जाने।
इस वीडियों संदेश के दौरान पीएम मोदी ने संस्कृत का श्लोक पढ़ा, उत्साहो बलवान् आर्य, न अस्ति उत्साह परम् बलम्। स उत्साहस्य लोकेषु, न किंचित् अपि दुर्लभम्॥ यानि हमारे उत्साह, हमारी भाव से बड़ी शक्ति दुनिया में कोई दूसरी नहीं है।
उन्होंने कहा कि इस कोरोना संकट से जो अंधकार और अनिश्चितता पैदा हुई है, उसे समाप्त करके हमें उजाले और निश्चितता की तरफ बढ़ना है। इस अंधकारमय कोरोना संकट को पराजित करने के लिए, हमें प्रकाश के तेज को चारो दिशाओं में फैलाना है
देशव्यापी लॉकडाउन को आज 9 दिन हो रहे हैं
प्रधानमंत्री ने कहा कि मेरे प्यारे देशवासियों, कोरोना वैश्विक महामारी के खिलाफ देशव्यापी लॉकडाउन को आज 9 दिन हो रहे हैं। इस दौरान आप सभी ने जिस प्रकार अनुशासन और सेवा भाव, दोनों का परिचय दिया है, वो अभूतपूर्व है। आज कई देश इसको दोहरा रहे हैं। आपने जिस प्रकार, 22 मार्च रविवार के दिन कोरोना के खिलाफ लड़ाई लड़ने वाले हर किसी का धन्यवाद किया, वो भी आज सभी देशों के लिए एक मिसाल बन गया है।
सोशल डिस्टेंसिंग ही कोरोना की चेन तोड़ने का रामबाण इलाज: पीएम मोदी
हम अपने अपने घरों में जरूर हैं, लेकिन हम में से कोई अकेला नहीं है
साथियों, आज जब देश के करोड़ों लोग घरों में हैं, तब किसी को भी लग सकता है कि वो अकेला क्या करेगा। कुछ लोग ये भी सोच रहे होंगे कि इतनी बड़ी लड़ाई को, वो अकेले कैसे लड़ पाएंगे। ये लॉकडाउन का समय जरूर है, हम अपने अपने घरों में जरूर हैं, लेकिन हम में से कोई अकेला नहीं है। 130 करोड़ देशवासियों की सामूहिक शक्ति हर व्यक्ति के साथ है, हर व्यक्ति का संबल है ।
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